IGMPY के अंतर्गत राज्य की गर्भवती महिलाओंको को उनकी दूसरी गर्भावस्ता में देखभाल हेतु 6,000/- रुपयोंकी आर्थिक सहायता 5 किश्तों में प्रदान की जाएगी। इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का प्रमुख उद्देश्य गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं और 3 वर्ष तक के बच्चों के स्वास्थ्य और पोषण की स्थिति में सुधार लाकर जन्म के समय कम वज़न और दुर्बलता की घटनाओं को कम करना है।
यह योजना महिला एवं बाल विकास विभाग के अन्तर्गत समेकित बाल विकास सेवाएं (ICDS) और चिकित्सा, स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग की स्वास्थ्य प्रणाली का उपयोग करते हुए लागू की गयी है।
राज्य में बहोत सारे परिवार ऐसे है जो गरीबी रेखा में अपना जीवन यापन कर रहे है उनके पास रोजगार का कोई स्थायी साधन ना होने की वजह से उनकी आर्थिक स्थिति कमजोर होती है इसकारण ऐसे परिवार की महिलाओं को अपने गर्भावस्ता में अपने लिए पोषक आहार प्राप्त करना बहोत मुश्किल होता है और गर्भावस्ता में माता को पोषक आहार ना मिलने की वजह से माता और उसके बच्चे की सेहत पर इसका प्रभाव पड़ता है और दोनों कुपोषण का शिकार बनते है।
इन सारी बातों को ध्यान में रखते हुए राजस्थान सरकार ने इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना को शुरू करने का एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया।
इस योजना के अंतर्गत राज्य के लगभग 4 लाख महिलाओं को लाभ पहुंचाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है जिसके लिए प्रतिवर्ष 43 करोड़ रुपयों का बजट तय किया गया है। इस योजना के अंतर्गत मिलनेवाली सहायता राशि से गर्भवती महिला अपना और अपने बच्चे को सकस आहार प्रदान कर सकेंगी | इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की ख़ास बात यह है की इस योजना का लाभ महिला के दूसरे प्रसव के लिए प्रदान किया जाएगा।
राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत जी ने राजस्थान इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का दायरा बढ़ा दिया है पहले इस योजना राज्य के केवल 5 जिलों के लिए शुरू की गयी थी लेकिन अब इस योजना का लाभ राजस्थान की सभी गर्भवती महिलाओं को दिया जाएगा। 19 नवंबर 2020 को पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय इंदिरा गांधी की 103वी जयंती पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत जी ने राजस्थान में इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का शुभारंभ किया | इस योजना के अंतर्गत राजस्थान राज्य के महिलाओं को उनके दूसरे संतान के जन्म पर 6,000/- रुपयोंकी राशि 5 किश्तों में प्रदान की जाएगी लाभ की राशि लाभार्थी महिला के बैंक खाते में DBT के माध्यम से जमा की जाएगी।
योजना का नाम | इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना |
विभाग | महिला एवं बाल विकास विभाग |
राज्य | राजस्थान |
शुरुआत | 19 नवंबर 2020 |
लाभार्थी | राज्य की गर्भवती महिला |
लाभ | 6,000/- रुपयोंकी आर्थिक सहायता |
उद्देश्य | योजना के अंतर्गत माता और बच्चे को पोषक आहार प्रदान करना |
आवेदन तरीका | ऑनलाइन/ऑफलाइन |
पाठकों से निवेदन
अगर आप IGMPY का लाभ प्राप्त करना चाहते है तो हमारा यह आर्टिकल अंत तक पढ़े क्यूंकि हमने इस योजना की सारी जानकारी इस आर्टिकल में विस्तार से बताई है।
अगर आपके क्षेत्र में ऐसी कोई गर्भवती महिलाएं है जो इस योजना का लाभ पाना चाहती है तो उन्हें इस योजना के बारे में जरूर बताएं या फिर हमारा यह आर्टिकल उनतक जरूर शेयर करे ताकि वे इस योजना का लाभ प्राप्त कर सके।
IGMPY का उद्देश्य
- गर्भवती माता और उसके बच्चे का कुपोषण होने से बचाव करना राजस्थान इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का मुख्य उद्देश्य है।
- गर्भवती महिला को उसके गर्भावस्था में सकस आहार के लिए आर्थिक सहायता प्रदान करना।
- राज्य की महिलाओं को उनके गर्भावस्ता में सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनाना।
- गर्भवती महिलाओं के जीवन स्तर में सुधार लाना।
- राज्य की महिलाओं का सशक्तिकरण करना।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत राज्य में बच्चों के कुपोषण का प्रमाण कम करना।
- राज्य की गर्भवती महिलाओं को उनके गर्भावस्था के समय किसी तरह के पोषण की कमी ना हो इस उद्देश्य से इस योजना की शुरुआत की गयी है।
- राज्य की गर्भवती महिलाओं को इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत 6,000/- रुपयोंकी आर्थिक सहायता करना इस योजना का उद्देश्य है।
IGMPY की विशेषताएं
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना को राजस्थान सरकार द्वारा शुरू किया गया है
- राज्य की गर्भवती महिलाओं को पोषक आहार प्रदान करने हेतु इस योजना की शुरुआत की गयी है
- गर्भवती महिलाओंको और उसके बच्चे को पोषक आहार प्रदान करने हेतु शुरू की गयी यह एक अत्यंत महत्वपूर्ण योजना है
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की आवेदन प्रक्रिया को आसान और सरल किया गया है जिससे आवेदक महिला इस योजना के लिए आवेदन करने में कोई दिक्कत नहीं होगी |
- इस योजना के लिए आवेदन प्रक्रिया को ऑनलाइन किया गया है जिसकारण आवेदक महिला अपने मोबाइल से इस योजना के लिए आवेदन कर सकती है जिससे उनको किसी भी सरकारी कार्यालय के चक्कर काटने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी जिसकारण उनका समय और पैसा दोनों की बचत होगी |
- राजस्थान इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत मिलनेवाली सहायता राशि लाभार्थी महिला के बैंक खाते में DBT के माध्यम से जमा की जाएगी |
- इस योजना के तहत गर्भवती महिलाओं को 6000 /- रुपयोंकी आर्थिक सहायता दी जाएगी जिसे 5 किश्तों में प्रदान की जाएगी |
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत राज्य की गर्भवती महिला सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनेंगी
- राज्य के गर्भवती महिलाओं के जीवन स्तर में इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के तहत सुधार आएगा |
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत मिलनेवाली सहायता राशि से राज्य की गर्भवती महिलाओं को किसी और के ऊपर निर्भर रहने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी और नाही किसी और से ऋण लेने की आवश्यकता होगी
- राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत जी ने राजस्थान इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का दायरा बढ़ा दिया है पहले इस योजना राज्य के केवल 5 जिलों के लिए शुरू की गयी थी लेकिन अब इस योजना का लाभ राजस्थान की सभी गर्भवती महिलाओं को दिया जाएगा |
- इस योजना की सहायता से राज्य में कुपोषण का प्रमाण कम होगा |
- राज्य की 4 लाख से अधिक गर्भवती महिलाओं को इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना से लाभान्वित किया जाएगा |
- इस योजना के लिए प्रत्येक वर्ष 43 करोड़ रुपयोंका बजट निर्धारित किया गया है |
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत गर्भवती महिलाओं को परिवार नियोजन का महत्व प्रदान किया जाएगा जिससे राज्य की महिलाएं परिवार नियोजन के लिए प्रेरित होंगे जिससे राज्य की जनसंख्या नियंत्रित होगी।
- स्टेट मिनिरल फाउंडेशन माइन्स एंड जियोलोजी डिपार्टमेंट के अंतर्गत इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की फंडिंग की जाएगी।
इंदिरा महिला शक्ति प्रशिक्षण व कौशल संवर्धन योजना
IGMPY का क्षेत्र
इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना राज्य के चार जनजातीय जिलों प्रतापगढ़, डूंगरपुर, बांसवाड़ा और उदयपुर तथा सहरिया बहुल जिला बारा में लागू की गयी थी परंतु राजस्थान के मुख्यमत्री अशोक गहलोत जी द्वारा अब इस योजना का दायरा बढ़ा दिया गया है अब इस योजना का लाभ राज्य के सभी जिलों की गर्भवती महिलाओं को प्रदान किया जाएगा।
IGMPY का स्वरुप व देय लाभ
इस योजना के अंतर्गत राज्य की गर्भवती महिलाओंको को उनकी दूसरी गर्भावस्ता में देखभाल हेतु 6,000/- रुपयोंकी आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी यह सहायता राशि लाभार्थी महिला को 5 किश्तों में प्रदान की जाएगी।
IGMPY के लाभ
- राजस्थान इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत राज्य की गर्भवती महिलाओंको को उनकी दूसरी गर्भावस्ता में देखभाल हेतु 6,000 /- रुपयोंकी आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी यह सहायता राशि लाभार्थी महिला को 5 किश्तों में प्रदान की जाएगी।
- इस योजना की सहायता से गर्भवती मात और उसके बच्चे दोनों के कुपोषण में कमी आएगी।
- इस योजना की अंतर्गत राज्य की गर्भवती महिला सशक्त एवं आत्मनिर्भर बनेंगी।
- राजस्थान इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की सहायता से राज्य की गर्भवती महिला के जीवन स्तर में सुधार आएगा।
- राज्य की गर्भवती महिला और सके बच्चे का कुपोषण से बचाव होगा।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की सहायता से गर्भवती महिलाओं के आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा।
- इस योजना के अंतर्गत मिलनेवाली आर्थिक सहायता से गर्भवती महिला अपना और अपने बच्चे को सकस पोषक आहार प्रदान कर पाएगी।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत गर्भवती महिला को बेहतर स्वास्थ्य और राहत प्रदान किया जाएगा।
- इस योजना के माध्यम से राज्य में महिलाओं और बच्चो को पर्याप्त पोषण आहार प्रदान कर कुपोषण जैसी समस्याओं को ख़त्म किया जा सकेगा।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत मिलनेवाली सहायता राशि से गर्भवती महिला को चिकित्सा या जांच के लिए किसी आर्थिक का सामना नहीं करना पड़ेगा।
- इस योजना के अंतर्गत मिलनेवाली सहायता राशि से महिला को दूसरे बच्चे के जन्म के समय मां और बच्चे में किसी भी प्रकार की शारीरिक कमजोरी उत्पन्न नहीं होगी
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की सहायता से माता और बच्चे को पोषक आहार मिलने से माता सुदृढ़ बच्चे को जन्म देगी।
- इस योजना के अंतर्गत पोषक आहार मिलने से स्तनपान करनेवाली माता और बच्चे में शारीरिक दुर्बलता जैसी समस्य उत्पन्न नहीं होगी।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के माध्यम से राज्य में कुपोषित बच्चों की दरों में कमी आएगी और बच्चे स्वास्थ्य पैदा होंगे।
सुंदर सिंह भंडारी स्वरोजगार योजना
IGMPY के लाभार्थी
- राज्य की दूसरे बच्चे को जन्म देनेवाली गर्भवती महिलाएं इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना की लाभार्थी है।
- योजना हेतु ऐसी सभी महिलाओं का पात्र लाभार्थी माना जाएगा।
- जो महिला 01.11.2020 को या उस तारीख के बाद से दूसरी संतान के साथ गर्भवती हैं।
- अथवा उस तारीख के बाद दूसरी संतान के लिए प्रथम एएनसी के रूप में पंजीकृत हुई हैं।
- योजना की शर्तों को पूरा करते हुए, गर्भवती और स्तनपान कराने वाली आंगनवाड़ी कार्यकर्ता/आंगनवाड़ी सहायिका/आशा सहयोगिनी/साथिन भी इस योजना के तहत लाभ प्राप्त कर सकती हैं।
IGMPY के अंतर्गत अपात्र लाभार्थी
- केंद्र सरकार या राज्य सरकार या सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम में नियमित रूप नियोजित महिला अथवा जो अन्य किसी प्रचलित विधि के अन्तर्गत समान प्रकार का लाभ प्राप्त कर रही है, उक्त लाभार्थी इस योजना हेतु अपात्र होगी।
- प्रथम गर्भावस्था से जुड़वा बच्चे होने की स्थिति में द्वितीय गर्भधारण वाली महिला योजनान्तर्गत अपात्र होगी।
- पुनर्विवाह की स्थिति में, नव-दम्पती (दोनों में से किसी के भी) के पूर्व में, एक से अधिक सन्तान होने की स्थिति में सम्बन्धित महिला योजनान्तर्गत अपात्र होगी
- कोई भी महिला एक साथ, IGMPY और समान शर्तों से जुड़ी प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (PMMVY) की किश्तों का लाभ लेने हेतु अपात्र होगी।
IGMPY से बाहर निकलने के कारण
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के तहत पंजीकरण के पश्चात् लाभार्थी महिला के किसी कारणवश योजना हेतु अपात्र होने की स्थिति में वह लाभार्थी तत्पश्चात् योजनान्तर्गत वित्तीय लाभ प्राप्त करने हेतु अपात्र होगी।
- योजना से निकासी के प्रमुख कारण
- गर्भपात (Miscarriage/Abortion)
- गर्भ-समापन (MTP)
- मृत शिशु जन्म (Still Birth)
- अन्यत्र प्रव्रजन (Migration), जहाँ योजना का संचालन नहीं हो
- लाभार्थी महिला अथवा शिशु की मृत्यु
IGMPY के अंतर्गत लाभार्थियों को भुगतान
- लाभार्थियों को उनके बैंक खातों में सीधे राजपोषण से जुड़े ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के माध्यम से भुगतान किया जाएगा।
- सूचना प्रौद्योगिकी विभाग के जन-आधार गेटवे के माध्यम से जनआधार से जुड़े खातों में प्रत्यक्ष भुगतान किया जाएगा।
- योजना के तहत नकद या चैक के माध्यम से किसी प्रकार का भुगतान नहीं किया जाएगा।
- भुगतान अनुमोदन के लिए पहले से सत्यापित और अग्रेषित किए गए लाभार्थियों की किश्त की रिक्वेस्ट सीधे SNO के वेब-आधारित क्रेडेंशियल्स में फॉरवर्ड हो जायेगी।
- SNO द्वारा भुगतान अनुमोदन के पश्चात, समस्त जानकारी प्रौद्योगिकी विभाग के भुगतान गेटवे पर चली जाएगी। SNO और वित्तीय सलाहकार (FA) द्वारा गेटवे पर भुगतान स्वीकृत किये जाने के पश्चात, स्वीकृत राशि लाभार्थी के खातों में स्थानान्तरित कर दी जाएगी।
IGMPY के लिए आवश्यक पात्रता
- आवेदक महिला राजस्थान राज्य की मूल निवासी होना आवश्यक है।
IGMPY की शर्ते
- केवल राजस्थान राज्य की गर्भवती महिलाओं को ही इस योजना का लाभ प्रदान किया जाएगा।
- राजस्थान राज्य के बाहर की गर्भवती महिलाओं को इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का लाभ नहीं दिया जाएगा।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत केवल दूसरे बच्चे को जन्म देनेवाली महिलाओं को ही इस योजना का लाभ दिया जाएगा।
- इस योजना का लाभ पाने के लिए आवेदक महिला बीपीएल परिवार से होनी आवश्यक है।
- इस योजना का लाभ केवल महिलाओं को ही दिया जाएगा पुरुषोंको इस योजना में शामिल नहीं किया जाएगा।
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का लाभ पाने के लिए महिला का गर्भवती होना आवश्यक है जिसके लिए डॉक्टर द्वारा दिया गया प्रमाण आवेदन फॉर्म के साथ जोड़ना होगा।
- जो महिलाएं केंद्र सरकार या राज्य सरकार या सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम में नियमित रूप से रोजगार में हैं या जो किसी अन्य लागू कानून के तहत इसी तरह का लाभ प्राप्त कर रहीं हैं, उन्हें इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।
- आवेदक महिला केंद्र या राज्य सरकार द्वारा शुरू किसी अन्य प्रसूति योजना का लाभ प्राप्त कर रही हो तो ऐसे स्थिति में उसे इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना का लाभ नहीं दिया जाएगा |
- इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के तहत पंजीकरण के बाद किसी लाभार्थी के गर्भ गिरने/चिकित्सा से गर्भ-समाप्ति (Medical Termination of Pregnancy-MTP)/मृत शिशु के जन्म की स्थिति होती है, वहाँ वह लाभार्थी भविष्य में गर्भधारण की स्थिति में भी द्वितीय संतान की स्थिति में लाभ प्राप्त करने हेतु पात्र होगी, भले ही उसे पहले सभी किश्तों का लाभ मिल गया हो।
- कोई भी महिला एक साथ, इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना (IGMPY) और समान शर्तों से जुड़ी प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (PMMVY) के किश्तों का लाभ नहीं ले सकती।
- यदि किसी चरण की पालना लाभार्थी द्वारा नहीं की गई है, तो उस चरण की देय राशि उसे प्रदान नहीं की जाएगी। परन्तु एक चरण के उपरान्त यदि अगले चरण में उसके द्वारा अगले चरण की शर्त पूरी की जाती है, तो उसे उस अगले चरण की राशि प्रदान की जाएगी।
IGMPY के अंतर्गत वित्तीय प्रबंधन
- योजना के अंतर्गत वित्तीय प्रबंधन में लाभार्थी को नकद लाभ हस्तांतरण राशि (Direct Benefit Transfer Cost- DBT) खान विभाग के अधीन राज्य स्तर पर निर्मित राज्य मिनरल फण्ड (SMF) से दी जाएगी।
- सामाजिक एवं व्यवहार परिवर्तन संचार (Social and Behavior Change Communication- SBCC) रणनीति हेतु भी इस कोष से राशि दी जा सकेगी
- योजना हेतु प्रशासनिक व्यय की राशि व आंगनवाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका को देय कार्य प्रोत्साहन राशि राज्य सरकार द्वारा अन्य मद से दी जाएगी।
- इस योजना हेतु राशि इंदिरा महिला शक्ति निधि (प्रियदर्शिनी इंदिरा गांधी महिला शक्ति निधि) के अंतर्गत प्राविधित की जा सकेगी।
- योजना के संचालन में आवश्यक मानव संसाधन सहयोग हेतु योजना की सहभागी संस्था द्वारा आवश्यक व्यवस्था की जाएगी।
- योजना के प्रस्ताव के अनुसार सिफ (CIFF) संस्था द्वारा आईपीई ग्लोबल के माध्यम से योजना अवधि में निम्न मानव संसाधन उपलब्ध कराये जायेंगे।
IGMPY का क्रियान्वय
- योजना के अंतर्गत पंजीकृत लाभार्थी की प्रत्येक MCHN दिवस, VHSN दिवस, पोषण दिवस, पोषाहार वितरण दिवस और ANC विजिट पर काउन्सलिंग की जाएगी, जब तक कि उसका बच्चा तीन साल का हो जाए।
- काउन्सलिंग के अंतर्गत लाभार्थी को चरणबद्ध रूप में गर्भावस्था, मातृत्व व शिशु के पालन-पोषण संबंधी जानकारी व उचित आहार-विहार का ज्ञान दिया जाएगा। इसी क्रम में गर्भावस्था के दौरान देखभाल पोषण का मातृत्व और शिशु के शारीरिक और मानसिक विकास में महत्त्व समझाने के लिए समुचित सूचना सामग्री, पुस्तिका, कार्ड आदि डिज़ाइन किया जाएगा।
- योजना में समस्त संबंधित कार्मिकों और मानदेयकर्मियों यथा- आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, आंगनबाड़ी सहायिका, आशा सहयोगिनी, एएनएम एवं विभिन्न प्रशासनिक अधिकारियों को आवश्यक प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसके लिए योजना के सहभागी पार्टनर द्वारा समुचित सुविधा/सूचना सामग्री विकसित की जाएगी।
IGMPY के लिए आवश्यक दस्तावेज
- आधार कार्ड
- राशन कार्ड
- निवास प्रमाण पत्र
- मोबाइल नंबर
- ईमेल आयडी
- पासपोर्ट साइज फोटो
- बैंक खाता विवरण
- गर्भवती होने का डॉक्टर का प्रमाण पत्र
दलित आदिवासी उद्यम प्रोत्साहन योजना
IGMPY के अंतर्गत आवेदन फॉर्म निरस्त होने के कारण
- आवेदक द्वारा गलत जानकारी भरने पर आवेदन फॉर्म निरस्त हो सकता है।
- आवेदन फॉर्म में परिवार के किसी अन्य सदस्य का बैंक खाता दर्ज करने पर आवेदन फॉर्म निरस्त हो सकता है।
- गलत IFSC Code दर्ज करने पर आवेदन फॉर्म निरस्त हो सकता है।
- इस योजना के अंतर्गत दो बार आवेदन करने पर आवेदन फॉर्म निरस्त हो सकता है।
- अगर आवेदक सरकार द्वारा शुरू किसी अन्य प्रसव योजना का लाभ प्राप्त कर रहा हो तो ऐसे स्थिति में उसका आवेदन फॉर्म निरस्त हो सकता है।
IGMPY के अंतर्गत ऑफलाइन आवेदन करने की प्रक्रिया
- आवेदक को सबसे पहले अपने क्षेत्र के आंगबाड़ी कार्यालय में जाना होगा।
- आंगनबाड़ी कार्यालय से इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना से जुड़ा आवेदन फॉर्म प्राप्त करना होगा या फिर निचे दिया गए हमारे लिंक से डाउनलोड करना होगा।
- आवेदन फॉर्म में पूछी गयी सारी जानकारी अच्छे से दर्ज करनी है और साथ ही आवश्यक दस्तावेज जोड़ने होंगे।
- भरा हुआ आवेदन फॉर्म को उसी आंगबाड़ी में जमा करना होगा।
- इस प्रकार आपकी इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत आवेदन प्रक्रिया पूर्ण हो जाएगी।
IGMPY के अंतर्गत ऑनलाइन आवेदन करने की प्रक्रिया
जो गर्भवती महिलाएं इंदिरा गांधी मातृत्व पोषण योजना के अंतर्गत आवेदन करना चाहती हैं, उन्हें अभी थोड़ा इंतज़ार करना होगा क्योंकि अभी योजना में ऑनलाइन आवेदन हेतु सरकार द्वारा कोई भी पोर्टल जारी नहीं किया गया है। जिसे सरकार द्वारा जल्द ही जारी किया जाएगा, इसके बाद ही पोर्टल पर आवेदक आसानी से घर बैठे आवेदन कर सकेंगे। सरकार द्वारा जैसे ही पोर्टल से संबंधित कोई भी आधिकारिक सूचना जारी की जाती है, उसकी जानकारी हम आपको अपने लेख के माधयम से प्रदान कर देंगे, इसके लिए आप हमारी साइट से जुड़े रहिए।
सारांश
मै आशा करता हु की आपको IGMPY के बारे में जानकारी प्राप्त हो चुकी है फिर भी आपके मन में इस योजना से जुड़े कोई सवाल हो तो हमे Comments या Email के माध्यम से जरूर बताये हम आपके सवालोंके जवाब देने की जल्द से जल्द कोशिश करेंगे।
अगर आपको यह जानकारी अच्छी लगी हो तो अपने दोस्तों के साथ जरूर Share करे ताकि आपके दोस्त भी इस योजना का लाभ उठा सके या फिर Facebook Instagram और अन्य Social Media पर जरूर Share करे ताकि किसी जरूरतमंद तक यह जानकारी पहुँच सके और वह इस योजना का लाभ उठा सके।